कौन है केशव डबास जिसकी गेंद के सामने टिक नही पाए टीम इंडिया के धुरंधर बल्लेबाज़
भारतीय क्रिकेट टीम के दिग्गज बल्लेबाजों रोहित शर्मा और शिखर धवन को आउट करने में दुनियाभर के अच्छे-अच्छे गेंदबाजों के पसीने छूट जाते हैं. टीम इंडिया के ये दोनों ओपनर जब अपने रंग में होते हैं तो बड़े से बड़े गेंदबाज की बखिया उधेड़ देते हैं. मगर बांग्लादेश के खिलाफ रविवार तीन नवंबर को दिल्ली के अरुण जेटली स्टेडियम में होने वाले टी-20 मुकाबले से पहले इन दोनों बल्लेबाजों के लिए बुरी खबर आई है. दरअसल, टीम इंडिया के ये दोनों धुरंधर 19 साल के गेंदबाज का शिकार हो गए.
पहले एक शानदार गेंद ने ऑफ स्टंप के थोड़ी सी बाहर टप्पा खाकर अधिक उछाल लेते हुए रोहित के बल्ले का बाहरी किनारा ले लिया. इस गेंद पर रोहित शर्मा के पैरों का मूवमेंट थोड़ा धीमा रहा. कुछ ही मिनट बाद शिखर धवन के बल्ले और पैड के बीच में से गेंद निकलकर विकेटों पर लग गई. हालांकि रोहित की तुलना में धवन इस गेंद पर गैरजरूरी आक्रामकता दिखाने के चक्कर में आउट हुए. इस तरह टीम इंडिया के दोनों ओपनर आउट हो गए. मगर ये नजारा वनडे, टी-20 की तेज पिच का नहीं था. और न ही ऐसा किसी अंतरराष्ट्रीय या घरेलू मैच में हुआ था. बल्कि इन दोनों बल्लेबाजों का ये हाल तो बांग्लादेश के खिलाफ पहले टी-20 मुकाबले से पूर्व नेट प्रैक्टिस के दौरान हुआ.
दिल्ली के 19 साल के तेज गेंदबाज केशव डबास ने इन दोनों के विकेट लिए. हालांकि दोनों धुरंधरों के विकेट लेकर केशव खुद भी आश्चर्य में पड़ गए. दोनों के विकेट लेने के बाद केशव अपनी भावनाओं का इजहार करना तक भूल गए. केशव की गेंदबाजी की प्रशंसा हेड कोच रवि शास्त्री ने भी की, जबकि तेज गेंदबाज शर्दुल ठाकुर ने उनके क्लब के बारे में जानना चाहा.
चार महीने पहले हो गया था पिता का निधन
केशव डबास को पहली बार भारतीय क्रिकेटरों को गेंदबाजी करने का मौका मिला था. इससे पहले वो इस साल शुरुआत में भारत दौरे पर आई ऑस्ट्रेलियाई टीम के लिए आधिकारिक नेट बॉलर थे. केशव अपने परिवार में सबसे छोटे हैं. इस साल जून में ब्रेन स्ट्रोक के चलते उनके पिता का निधन हो गया था. ऐसे समय में परिवार पर आर्थिक संकट के बादल मंडराने लगे थे, लेकिन केशव की बड़ी बहन और भाई की नौकरियों के चलते परेशानी नहीं आई. उनका इरादा अधिक से अधिक तेज गेंदबाजी करने का है. उन्होंने कहा, ‘इसीलिए तो मैं क्रिकेट खेल रहा हूं. अभी बहुत लंबा सफर तय करना बाकी है. उम्मीद है कि एक दिन मेरा सपना सच होगा