आफरीदी से थप्पड़ खाकर आमिर ने कबूली थी स्पॉट फिक्सिंग की बात
पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर अब्दुल रज्जाक ने दावा किया है कि वनडे टीम के तत्कालीन कप्तान शाहिद अफरीदी से थप्पड़ खाने के बाद तेज गेंदबाज मोहम्मद आमिर ने स्पॉट फिक्सिंग की बात कबूल की थी, जबकि सलामी बल्लेबाज सलमान बट 2011 के इंग्लैंड दौरे से पहले ही इस तरह के भ्रष्टाचार में शामिल थे. पाकिस्तान क्रिकेट की छवि को धूमिल करने वाली इस घटना का जिक्र रज्जाक ने जीएनएन चैनल से किया.
बट, आमिर और मोहम्मद आसिफ को फिक्सिंग का दोषी पाए जाने के बाद 2011 में आईसीसी ने पांच साल के लिए निलंबित कर दिया था. तीनों खिलाड़ियों ने अपना निलंबन पूरा कर लिया है और अब क्रिकेट के मैदान पर वापसी कर चुके हैं, लेकिन राष्ट्रीय टीम के लिए सिर्फ आमिर का चयन हुआ है, जो विश्व कप की टीम का हिस्सा हैं.
रज्जाक ने बताया कि बट्ट इस मामले के सामने आने से पहले ही फिक्सिंग से जुड़े थे और जान बूझकर डॉट बॉल खेला करते थे. उन्होंने अफरीदी से इस बारे में अपनी चिंता जाहिर की थी, लेकिन उन्होंने कहा था कि यह मेरा वहम है और कुछ भी गलत नहीं हो रहा है. लेकिन, जब रज्जाक टी-20 विश्व कप में वेस्टइंडीज के खिलाफ बट्ट के साथ बल्लेबाजी कर रहा था, तब उन्हें पक्का यकीन हो गया कि वह टीम को नीचा दिखा रहा है.
रज्जाक ने कहा, मैंने उससे कहा कि मुझे स्ट्राइक दो तो उन्होंने इस बात पर मना कर दिया, जिसे सुनकर मुझे हैरानी हुई और तब मुझे अहसास हुआ कि ये क्या कर रहा है. हर ओवर में वह जानबूझ कर दो-तीन गेंद खाली खेल रहा था और इसके बाद मुझे स्ट्राइक देता था. मुझे गुस्सा आ गया था और मैं दबाव में आउट हो गया था. ”
रज्जाक ने कहा, अफरीदी ने मुझे कमरे से बाहर जाने के लिए कहा, लेकिन थोड़ी देर बाद मैंने थप्पड़ की गूंज सुनी और फिर आमिर ने सच्चाई बयां की. रज्जाक ने हालांकि स्थिति से ठीक से नहीं निपटने के लिए पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) को जिम्मेदार ठहराया. उन्होंने कहा, पीसीबी अपनी कार्यकुशलता साबित करने के लिए आईसीसी के पास चला गया, लेकिन उसे ऐसा करने की बजाय खुद ही तीनों खिलाड़ियों से बात कर घर वापस भेज देना चाहिए था और एक साल या कुछ समय के लिए प्रतिबंध लगा देना चाहिए था. ऐसा नहीं करके पीसीबी ने दुनिया भर में पाकिस्तान क्रिकेट की छवि को खराब किया.